शब्द का अर्थ खोजें

शब्द का अर्थ

कनिष्ठ  : विं० [सं० युवन् या अल्प+इष्ठन्, कनादेश] १. जो अवस्था, वय आदि के विचार से औरों की तुलना में छोटा हो। बाद में या सबके पीछे उत्पन्न हुआ हो। (यंगर) ‘ज्येष्ठ’ का विपर्याय। २. जो पद, मर्यादा, योग्यता आदि के विचार से दूसरों से घटकर हो। (जूनियर) ‘वरिष्ठ’ का विपर्याय। ३. जो विद्वान् या श्रेष्ठ न हो। ‘वृद्ध’ का विपर्याय। ४. सब से छोटा या हलका। तुच्छ। हीन।
समानार्थी शब्द-  उपलब्ध नहीं
कनिष्ठक  : पुं० [सं० कनिष्ठ√कै (भासित होता)+क] एक प्रकार का तृण। वि०=कनिष्ठ।
समानार्थी शब्द-  उपलब्ध नहीं
कनिष्ठा  : स्त्री० [सं० कनिष्ठ+ टाप,] १. कई पत्नियों में से वह जो सब से छोटी हो अथवा सब के बाद में ब्याही गई हो। २. साहित्य में वह पत्नी या स्त्री जिस पर नायक या पति का प्रेम अपेक्षया कम हो। ३. सब से छोटी उँगली। कानी उँगली।
समानार्थी शब्द-  उपलब्ध नहीं
कनिष्ठिका  : स्त्री० [सं० कनिष्ठ+कन्—टाप्, इत्व]=कनिष्ठा।
समानार्थी शब्द-  उपलब्ध नहीं
 
लौटें            मुख पृष्ठ