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शब्द का अर्थ

ठगोरी  : स्त्री० [हिं० ठग-मूरि] १. ठगने की क्रिया० भाव या विद्या। २. ठगे जाने का भाव या परिणाम। उदाहरण–चोरन गए स्याम अँग सोभा उत सिर परी ठगोरी।–सूर। ३. ऐसी चीज या बात जिससे किसी को ठगा या धोखा दिया जाय। उदाहरण–जोग ठगोरी ब्रज न बिकै हैं।–सूर। ४. टोना। जादू। ५. मिथ्या भ्रम। माया। ६. सुध-बुध भुलानेवाली अवस्था, बात या शक्ति। उदाहरण–जानहु लाई काहु ठगोरी।–जायसी। मुहावरा–(किसी पर) ठगोरी डालना या लगाना=(क) मोहित करके अथवा और किसी प्रकार विश्वास जमाकर अपने वश में कर लेना। बहलाकर धोखे में रखना।
समानार्थी शब्द-  उपलब्ध नहीं
 
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